अरे कहा जाती ग्वालन, सीर पर माट धरी धरी
आरे मांगे जोबन को दान, नैनो से नीर झरे झरे
मत कर बल जोरी--------
बन के बनवारी, नवरंग धेनु चरे चरे
पकड़ागा तेरी बैया, कंस तेरो क्या हो करें करें
ऐसी मदमाती ग्वालन, बोली ते बात खड़े खड़े
क्यों धाक बतावे, हम तो नहीं डरे डरे
घर जाय कहेग, कान्हा से हम हरे हरे
आये शरण सदाशिव, चरणों में ध्यान धरे धरे
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